शिल्पा शेट्टी की बहन और बॉलीवुड अभिनेत्री शमिता शेट्टी को हाल ही में विवादित शो बिग बॉस ओटीटी में देखा गया था। वहां वह फाइनलिस्ट बन गई और अब बिग बॉस 15 का हिस्सा हैं। बिग बॉस रियलिटी टेलीविजन शो , आमतौर पर सेलिब्रिटी से जुड़ी चर्चा और विवादों के लिए जाना जाता है। यहां हाल ही में प्रतिभागियों से जुड़े कुछ गंभीर स्वास्थ्य परिस्थितियों को सामने लाया गया है।
बिग बॉस 15 के घर में शमिता शेट्टी का लगातार वहां मिलने वाले भोजन से मुनमुटाव होना और एक खास तरह की डाइट को फॉलो करने की जरूरत ने नेटिजन्स को चौंका दिया है। शमिता शेट्टी ने अपनी स्वास्थ्य स्थिति के बारे में बताया कि वे सामान्य भोजन नहीं कर सकतीं।
सालों से जूझ रही हैं कोलाइटिस से
बिग बॉस ओटीटी के एक एपिसोड में शमिता और एक को-कंटेस्टेंट भोजपुरी अभिनेत्री अक्षरा सिंह के बीच ग्लूटेन फ्री ग्रेन्यूल्स को लेकर एक मौखिक लड़ाई हुई। जिसके बाद शमिता अपना आपा खो गई और उन्होंने अपनी मेडिकल कंडीशन के बारे में बात की। उन्होंने बताया कि वह सामान्य भोजन नहीं खा सकती। इस स्थिति से वह सालों से जूझ रही हैं।
इस स्थिति को कोलाइटिस कहा जाता है। यह एक सूजन आंत्र रोग है, जो किसी के पाचन तंत्र में सूजन और घावों का कारण बनता है और कोलोन या बड़ी आंत की अंदर की परत को परेशन कर सकता है। इसके लक्षणों में ऐंठन, पेट में दर्द, बुखार, ठंड लगना, खून के साथ दस्त और भी कई लक्षण शामिल हैं।
इस बीमारी से जूझ रहीं Raj kundra की साली और शिल्पा शेट्टी की बहन Shamita Shetty,
ग्लूटेन फ्री डाइट लेती हैं शमिता
अपनी स्थिति के कारण शमिता शेट्टी ग्लूटेन फ्री डाइट का सहारा लेती हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि अल्सरेटिव कोलाइटिस वाले लोगों में ग्लूटेन सेंसिटिविटी एक बढ़ती हुई समस्या है। कुछ वर्षों में ज्यादातर लोगपाचन संबंधी जटिलताओं की शिकायत कर रहे हैं। जर्नल इंफ्लेमेट्री बाउल डिसीज में प्रकाशित एक अध्ययन के अनुसार, IBD (Inflammatory bowel disease) से पीड़ित 65 प्रतिशत रोगियों ने ग्लूटेन फ्री डाइट लेने पर गैस्ट्रोइंटेस्टनाइल लक्षणों से कुछ राहत पाई है।
ग्लूटेन फ्री डाइट क्या है
बैंगलोर के एस्टर सीएमआई हास्पीटल की सीनियर डाइटीशियन मिस एडविन राज के अनुसार, ‘ग्लूटेन एक प्रोटीन है, जो गेहूं, जौ और रई में पाया जाता है’। कई लोग अपनी वर्तमान स्थिति के आधार पर एक पोषण विशेषज्ञ से गेहूं के सही विकल्प को समझे बिना ग्लूटेन को पूरी तरह से छोड़ देते हैं, जो आखिरी में उनकी स्वास्थ्य संबंधी चिंताओं को बढ़ा देता है। इसलिए ग्लूटेन सेंसिटिविटी से निपटने के लिए गैस्ट्रोएंटेरोलॉजिस्ट से पूरी तरह से जांच करानी चाहिए।
किसे फॉलो करना चाहिए ग्लूटेन फ्री डाइट
गुरूग्राम के मणिपाल अस्पताल की एचओडी डाइटीशियन डॉ.शालिनी गार्विन ब्लिस का कहना है कि, ‘आमतौर पर ग्लूटेन फ्री डाइट वो लोग फॉलो करते हैं, जो सीलिएक रोग से ग्रसित होते हैं। डॉक्टर के अनुसार, सिलिएक रोग के लिए ग्लूटेन फ्री डाइट को इसलिए डिजाइन किया गया है, क्योंकि सिलिएक में रोगी को ग्लूटीन वाले उत्पादों से एलर्जी होती है। अल्सरेटिव कोलाइटिस के रोगियों के मामले में भी यदि लक्षण कम होते नहीं दिखते, तो स्थिति को मैनेज करने के लिए ग्लूटेन उत्पादों से दूर रहने की सलाह दी जाती है।’
ग्लूटीन फ्री डाइट कितनी सेफ है
डॉ.ब्लिस का सुझाव है कि सीलिएक रोग के लक्षणों को मैनेज करने के लिए ग्लूटेन फ्री डाइट लेना पूरी तरह से सुरक्षित है। हालांकि, इसमें गेहूं जैसे खाद्य पदार्थों से बचा जाता है, इसलिए विटामिन और मिनरल्स में कमी आ सकती है। इसके अलावा इसमें फाइबर भी बहुत कम मात्रा में होता है, जो पाचन स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए जरूरी पोषक तत्व है।
क्या ग्लूटेन फ्री डाइट कोलाइटिस को ठीक कर सकती है?
आहार विशेषज्ञ कहती हैं कि ‘इंफ्लेमेटरी बाउल डिजीज के सभी रोगियों को तब तक ग्लूटेन फ्री डाइट की जरूरत नहीं होती, जब तक की उनके सीलिएक रोग की जांच नहीं की जाती’। बीमारी की गंभीरता को समझना जरूरी है। इसलिए आईबीडी में सलाह दी गई है कि सिलिएक रोग वाले व्यक्ति को ग्लूटन से बचना चाहिए। क्योंकि ग्लूटेन नुकसान पहुंचाता हैऔर छोटी आंत में सूजन की वजह बनता है।
क्या है फूड आइटम्स में पाया जाने वाला ग्लूटेन और किस तरह से सेहत के लिए है खतरनाक? जानिए
तो अगर आपको भी सीलिएक रोग का संदेह है, तो आप भी शमिता शेट्टी की तरह ग्लूटेन फ्री डाइट फॉलो कर सकते हैं। यह आपकी स्थिति को बेहतर बनाने में मदद कर सकती है।
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डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।